पटना: जनता दल यूनाइटेड के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष और चुनावी रणनीतिकार प्रशांत किशोर को बुधवार को पार्टी से निष्कासित दिया गया. इसके साथ ही जेडीयू के वरिष्ठ नेता पवन वर्मा को भी पार्टी से बाहर का रास्ता दिखा दिया गया है.
दरअसल, जेडीयू के प्रधान महासचिव केसी त्यागी द्वारा बुधवार को जारी प्रेस विज्ञप्ति में कहा गया कि प्रशांत किशोर पार्टी में रहते हुए पिछले कई महीनों से लगातार विवादस्पद बयानबाजी कर रहे थे, जो दल के विरूद्ध एंव उनके स्वेच्छाचारिता का परिचायक है. इसके साथ ही जेडीयू ने प्रशांत किशोर और पवन वर्मा को पार्टी की प्राथमिक सदस्य से भी हटा दिया है.
बता दें कि दोनों नेता लगातार पार्टी लाइन से हटकर बयानबाजी कर रहे है थे, इसीलिए पार्टी ने दोनों नेताओं पर ये बड़ी कार्रवाई की है. इससे पहले मंगलवार को सीएम नीतीश कुमार (Nitish Kumar) के आवास पर जेडीयू की एक अहम बैठक हुई थी. इस बैठक में जेडीयू के तमाम वरिष्ठ नेता मौजूद थे, लेकिन इसमें प्रशांत किशोर और पवन वर्मा को नहीं बुलाया गया था.
इसके बाद से ये कयास लगना शुरू हो गया था कि जेडीयू दोनों नेताओं को पार्टी से बाहर का रास्ता दिखा सकती है. वहीं, बैठक के बाद जब सीएम नीतीश कुमार से जब पीके और पवन वर्मा को लेकर सवाल किया गया था तो उन्होंने साफतौर कहा था कि जिसको पार्टी में रहना है वो रहे, नहीं तो वह बाहर निकल जाए. साथ ही सीएम ने ये भी कहा था कि उन्होंने प्रशांत किशोर को अमित शाह के कहने पर जेडीयू में शामिल किया था.
इसके बाद प्रशांत किशोर ने सीएम नीतीश कुमार के बयान पर ट्वीट करके मंगलवार को अपनी तीखी प्रतिक्रिया व्यक्त की थी. इसके बाद से ये तय था कि जेडीयी किसी भी वक्त पीके के खिलाफ कोई बड़ा एक्शन ले सकती है.