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शिरडी ग्रामसभा ने वापस लिया बंद का फैसला, सीएम उद्धव ठाकरे ने बुलाई बैठक

महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के साथ आज दोपहर दो बजे होने वाली बैठक में शिरडी  और पाथरी ग्रामसभा, संसद सदाशिव लोखंडे, साईबाबा मंदिर ट्रस्ट के सीईओ, शिरडी के विधायक राधाकृष्ण विखे पाटिल शामिल होने वाले हैं।

बता दें कि उद्धव ठाकरे ने 9 जनवरी को औरंगाबाद में एक भाषण के दौरान कहा था कि पाथरी को साईं की जन्मभूमि के तौर पर विकसित किया जाएगा और इसके लिए 100 करोड़ रुपए दिए जाएंगे। उन्होंने कहा था कि शिरडी साईंबाबा की कर्मभूमि थी और पाथरी जन्मभूमि. उद्धव ठाकरे के इस बयान के बाद से लोगों में काफी गुस्सा है।
शिरडी के निवासियों ने महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के बयान पर ऐतराज जताते हुए कहा है कि साईंबाबा ने खुद अपने पूरी जीवनकाल में अपने जन्मस्थान का जिक्र नहीं किया। वे हमेशा ही सभी धर्मों को मानने वाले और अपनी जाति परवरदिगार बताते थे, उद्धव ठाकरे के बयान से नाराज बीजेपी सांसद सुजय विखे पाटिल ने इस मामले में ‘कानूनी लड़ाई’ की चेतावनी दी है।साई बाबा के जन्मस्थल को लेकर चल रहे विवाद के बीच रविवार को महाराष्ट्र के शिरडी में दुकानें, भोजनालय एवं विभिन्न व्यावसायिक प्रतिष्ठान बंद रहे और वाहन भी सड़कों से नदारद रहें। मंदिर न्यास और अहमदनगर जिला प्रशासन के अधिकारियों ने बताया कि बंद आधी रात को शुरू हुआ लेकिन शिरडी का साई मंदिर खुला रहा और श्रद्धालुओं ने वहां पूजा-अर्चना की।
अधिकारियों के अनुसार शिरडी मंदिर के ‘प्रसादालय’ और ‘लड्डू’ बिक्री के केन्द्रों पर लंबी कतारें दिखीं। ये विवाद तब शुरू हुआ जब महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने अपने भाषण में साईंबाबा की जन्मभूमि का नाम पाथरी बताया. पाथरी शिरडी से 275 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है. महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री ने परभणी जिले में स्थित पाथरी के विकास के लिए 100 करोड़ देने का ऐलान करते हुए इसे साईं की जन्मभूमि कहा था।

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